देहरादून में कांग्रेस भवन यूं तो तमाम विवादों को लेकर चर्चाओं में रहता है, लेकिन इस बार मामला कांग्रेस के कार्यकर्ताओं की उपेक्षा से जुड़ा है और खुद वरिष्ठ कांग्रेसी ने ही ये आरोप लगाए हैं.. बड़ी बात यह है कि कांग्रेस भवन का एक वीडियो भी सोशल मीडिया पर सामने आया है जिसमें उत्तराखंड राज्य आंदोलनकारी कांग्रेस प्रकोष्ठ के बैनर तले जितेंद्र चौहान (जित्ती भाई) प्रेस वार्ता करने का प्रयास करते दिख रहे हैं। आरोप लगाया जा रहा है कि पाार्टी के कुछ नेतााओ नेे उन्हें ऐसा करने से रोका।
एक वीडियो में पार्टी के नेता जितेंद्र चौहान (जित्ती भाई) अपनी ही पार्टी के नेताओं के द्वारा अपने बैनर को खींचकर हटाने का आरोप लगाते हुए भी दिखाई दे रहे हैं।
जितेंद्र चौहान ने कहा कि कांग्रेस पार्टी के लिए उन्होंने लंबी सेवाएं दी है, उन्होंने आरोप लगाया कि उनकी पहचान मिटायी जा रही है। कांग्रेस पार्टी में उनके योगदान का रिकार्ड मौजूद नहीं है। जबकि वे 1970 के दशक से सक्रिय कांग्रेसी रहे हैं |
बताया गया कि जितेंद्र को प्रेस वार्ता की अनुमति नहीं दी गई। और वरिष्ठ कांग्रेसी जित्ती को पीसी करने और बोलने से रोका गया। इससे नाराज जितेंद्र चौहान ने कहा कि स्वर्गीय नारायण दत्त तिवारी जी की आत्मा कांग्रेस भवन में आज भी घूम रही है लेकिन कांग्रेस मुख्यालय में उनकी फोटो यहां कही नहीं दिखती। इसके अलावा महानगर अध्यक्ष जसविंद्र गोगीं व महामंत्री नवीन जोशी पर भी जितेंद्र चौहान ने आरोप लगाए..उन्होंने कहा कि कांग्रेस का बैनर जिसमें सोनिया गांधी जी राहुलजी खरगे जी की फ़ोटो थी उसको खींचकर हटाया गया। उन्होंने कहा कि मैं अपनी आवाज़ उठाता रहूंगा केंद्र नेतृत्व के आगे क्योंकि एक आंदोलनकारी की बेइज़्ज़ती पदाधिकारियों द्वारा कांग्रेस भवन में की गई है