शिक्षा विभाग में गजब हाल- नियमों के विरुद्ध वित्तीय लाभ ले रहे शिक्षक!

उत्तराखंड शिक्षा विभाग में एक चौंकाने वाला मामला सामने आया है खबर है कि विभाग में कई शिक्षक और दूसरे कर्मचारी नियम के विरुद्ध विभाग से वित्तीय लाभ ले रहे हैं। आपको बता दें कि शिक्षकों को 10 साल की सेवा पूरा करने पर चयन वेतनमान का लाभ दिया जाता है जबकि 12 साल की सेवा पूरी करने पर प्रोन्नत वेतनमान का भी लाभ दिया जाता है लेकिन यदि किसी शिक्षक का प्रमोशन 10 साल से पहले हो जाए तो ऐसी स्थिति में उसे चयन वेतनमान का लाभ नहीं दिया जाता लेकिन अब कई जगहों से खबर आ रही है कि 10 साल से पहले प्रमोशन पा चुके शिक्षक भी चयन वेतनमान का लाभ ले रहे हैं, शिक्षा विभाग में इस बड़े घपले की खबर लगते ही मामले की जांच के आदेश दे दिए गए हैं। दरअसल कई शिक्षक ऐसे हैं जो 10 साल से पहले ही प्रमोशन मिलने के बावजूद बीमारी की बात लिखकर या दुर्गम क्षेत्र में जाने से बचने के लिए प्रमोशन छोड़ देते हैं लेकिन तथ्य सामने आए हैं कि 10 साल से पहले प्रमोशन पाने के बावजूद शिक्षकों या कर्मचारियों द्वारा तथ्य छुपाए गए और सरकार से चयन वेतनमान का लाभ लिया है।

ऐसे में अब ऐसे शिक्षकों के चयन वेतनमान को रोकने के आदेश दिए गए हैं हालांकि सवाल यह उठता है कि सरकार को जो अब तक वित्तीय नुकसान हुआ उसकी भरपाई कैसे की जाएगी क्या इन शिक्षकों से लिए गए चयन वेतनमान की वसूली होगी साथ ही इन पर कर्मचारी नियमावली के तहत कार्यवाही की जाएगी?

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